चारों युगों में से कलयुग को सबसे ज्यादा बड़ा और बुरा बताया गया है, कलयुग में इंसान“धर्म और कर्म से बहुत दूर हो गया है। यह कहानी महाभारत के समय की है जब पांडवों के मन में कलयुग के बारे में जानने की जिज्ञासा हो रही थी ।
पांडवों ने श्री कृष्ण जी से प्रश्न किया कि भगवन द्वापर युग समाप्ति की ओर है । हम आप से आने वाले कलयुग के बारे में जानना चाहते हैं कि आने वाला युग कैसा होगा । कृपया आप हमारी यह जिज्ञासा शांत करें। भगवान श्री कृष्ण पांडवों का यह प्रश्न सुनकर मुस्कुराए और कहां इस बात का तो जवाब मैं तुम्हें जरूर दूंगा लेकिन उससे पहले तुम पांचों भाइयों को जंगल में अलग-अलग दिशा की तरफ जाना होगा और जो भी पहली चीज तुम्हें नजर आए उसके बारे में आकर मुझे बताना होगा ।
भगवान श्री कृष्ण की बात सुनकर पांचों भाई उनसे आज्ञा लेकर जंगल में अलग-अलग दिशाओं में चले गए ।
थोड़ी देर के पश्चात पांचों भाई जंगल से वापस आ गए, उनके चेहरे पर प्रश्न दिखाई दे रहे थे । पांचों भाइयों के चेहरे देखने के बाद भगवान श्री कृष्ण ने कहा, अब मैं तुम्हें कलयुग के पांच सत्य बताऊंगा । उससे पहले तुम मुझे यह बताओ कि तुमने जंगल में क्या-क्या देखा ।
दो सूंड वाला हाथी
सबसे पहले महाराज युधिष्ठिर ने कहा कि मैंने जंगल में दो सूंड वाला हाथी देखा जिसे देखने के बाद में बहुत ही आश्चर्यचकित हो गया हूं, कृपया आप मेरी यह जिज्ञासा शांत करें ।
भगवान श्री कृष्ण ने कहा कलयुग में ऐसे लोगों का बोलबाला होगा जो मन के बहुत कपटी होंगे । जिनकी जुबान पर तो कुछ होगा लेकिन उनके मन की दशा इसके विपरीत होगी । ऐसे लोग सामने तो मित्र की तरह व्यवहार करेंगे लेकिन उनके मन में जहर और धोखा भरा होगा । कलयुग में इसी तरह के लोग ही राज करेंगे, अपने ही अपने लोगों को बर्बाद करेंगे । युधिष्ठिर के प्रश्न का उत्तर देने के बाद श्री कृष्ण ने अर्जुन की तरफ देखा और कहा कि अर्जुन अब तुम बताओ तुमने जंगल में क्या देखा ।
एक विचित्र पक्षी
अर्जुन ने कहा कि भगवान मैंने जंगल में एक विचित्र तरह का पक्षी देखा जिसके पंखों के ऊपर वेद रचनाएं लिखी हुई थी लेकिन वह मुर्दे का मांस खा रहा था जिसे देखकर मैं बहुत हैरान हुआ । अर्जुन की बात सुनकर भगवान श्री कृष्ण ने कहा कि अर्जुन कलयुग में इस तरह के लोग होंगे जो कि लोगों की नजर में बहुत ज्ञानी और धर्मात्मा नजर आएंगे लेकिन असल में उनके मन में सिर्फ लालच और कपट ही भरा होगा । ऐसे लोग हमेशा मौके की तलाश में रहेंगे की कब किसी की मृत्यु हो और वह उनकी धन संपत्ति पर कब्जा कर सकें। सच्चे संत भी कलयुग में होंगे लेकिन उनकी गिनती बहुत ही कम होगी ।
मां बाप का बछड़े के प्रति स्नेह
श्री कृष्ण ने भीम की तरफ देखा और कहा कि अब तुम बताओ कि तुमने क्या देखा, भीम ने कहा कि भगवान मैंने भी जो देखा वह विश्वास के काबिल नहीं था । मैंने देखा कि एक गाय अपने बछड़े को प्यार से इतना चाट रही थी कि उसके सारे शरीर में से खून निकलने लगा । कृपया मेरे इस प्रश्न का उत्तर देकर मेरी भी जिज्ञासा शांत करें ।
भगवान श्री कृष्ण ने भीम के इस प्रश्न का जवाब दिया कि कलयुग में मां बाप अपने बच्चों से इतना प्यार करेंगे कि बच्चे उनके ऊपर ही आश्रित हो जाएंगे और उनका विकास पूरी तरह से रुक जाएगा । मां बाप के मोह के कारण उनके बच्चों का भविष्य अंधकार में डूब जाएगा और कोई भी अपने बच्चों को भक्ति ज्ञान और सत्या के रास्ते पर चलने की प्रेरणा नहीं देगा जिसकी वजह से वह हमेशा मोह माया के जाल में फंसे रहेंगे ।
पत्थर की छोटी चट्टान
भीम के बाद अब नकुल ने कहां, भगवन मैंने जंगल में देखा कि एक छोटी चट्टान पहाड़ से नीचे की तरफ लुढ़क रही थी । रास्ते में बड़ी-बड़ी चट्टानें आई लेकिन वह चट्टान रुकी नहीं लेकिन नीचे आने के बाद वह चट्टान एक छोटे से पौधे से टकराकर रुक गई । इस घटना से मैं बहुत हैरान हो गया हूं कृपया मेरी शंका का निवारण करें । जब इतनी बड़ी बड़ी चट्टाने उस छोटी सी चट्टान को नहीं रोक सकी फिर वह एक छोटे से पौधे से टकराकर कैसे रुक गई ?
नकुल की बात सुनकर श्री कृष्ण ने कहा कि कलयुग में जब इंसान अपने पतन की तरफ जा रहा होगा तब उसके पतन को, उसके द्वारा किया हुआ इकट्ठा धन, या फिर उसकी प्रसिद्धि भी उसके पतन को रोक नहीं पाएगी लेकिन हरि नाम से उत्पन्न हुआ एक छोटा पौधा ही उसकी रक्षा करेगा इसलिए कलयुग में इंसान के बचने का सिर्फ एक ही तरीका है वह है हरि नाम का कीर्तन ।
इसके बाद सहदेव ने भगवान श्री कृष्ण से कहा कि भगवान मैंने जंगल में एक जगह बहुत सारे कुएं देखे जो पानी से लबालब भरे हुए थे लेकिन उनके बीच में एक ऐसा कुआं भी देखा जो बिल्कुल सूखा था । भगवान ऐसा कैसे हो सकता है कि पानी से भरे हुए कुओं के बीच में एक खाली कुआं भी हो ।
पानी से भरे हुए कुओं के बीच में खाली कुआं
भगवान श्री कृष्ण ने सहदेव को कहा कि कलयुग में इस तरह के इंसान होंगे जो हर तरह से परिपूर्ण होंगे लेकिन जरूरतमंद की मदद नहीं करेंगे वह अपने स्वार्थ और दिखावा करने के लिए तो काफी धन बर्बाद कर देंगे लेकिन अपने आसपास रहने वाले जरूरतमंद लोगों की वह बिल्कुल भी मदद नहीं करेंगे । धनवान व्यक्ति गरीब व्यक्तियों का उपहास तो करेंगे लेकिन उसकी मदद कभी नहीं करेंगे चाहे वह उनके रिश्तेदार ही हो । कलयुग में कहीं तो अनाज ज्यादा होने की वजह से सड़ रहा होगा और कहीं इंसान भूख से मर रहा होगा इसलिए सहदेव तुम्हें धनी व्यक्तियों के बीच में सुखा हुआ कुआं मतलब गरीब दिखाई दिया ।
सहदेव जो कलयुग में जरूरतमंद की सहायता करेगा और हरी नाम का सिमरन करेगा, उसके ऊपर भगवान का आशीर्वाद हमेशा बना रहेगा और वह कलयुग के प्रभाव से भी बचा रहेगा ।
यह कलयुग के वह पांच सत्य हैं जो भगवान श्री कृष्ण ने पांडवों को महाभारत के समय बताए थे और यह आज से वक्त में बिल्कुल सही साबित हो रहे हैं ।
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